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हिमाचल प्रदेश सरकार की परियोजनाएँ
- गिरी परियोजना-60 मेगावाट/गिरी नदी/सिरमौर। 1964 में बननी शुरू हुई। 1966 में बनकर तैयार हिमाचल प्रदेश सरकार द्वारा बनाई गई सबसे पहली परियोजना।
- बस्सी परियोजना-60 मेगावाट/ब्यास नदी/मण्डी।
- भाभा (संजय गाँधी) जलविद्युत परियोजना-120 मेगावाट/भाभा खण्ड सतलुज की सहायक नदी किन्नौर जिला1969 में पूर्ण हुई। यह एशिया की पहली भूमिगत जलविद्युत परियोजना है।
- थिरोट परियोजना-4.50 मेगावाट थिरोट नाला चिनाब की सहायक नदी/जिला लाहौल स्पीति।
- आंध्रा परियोजना-16.95 मेगावाट/शिमला जिला चींडगाँव/आंध्रा नदी (पब्बर की सहायक नदी पर बनी)।
- बनेर परियोजना-12 मेगावाट/काँगड़ा जिला/बनेर खड्ड पर।
- गज परियोजना-10.25 मेगावाट/काँगड़ा जिला/गज व ल्योण खड्ड पर।
- धानवी परियोजना-22.5 मेगावाट/शिमला (ज्योरी)/धानवी खड्ड सतलुज की सहायक नदी।
- बिनवा परियोजना-6 मेगावाट/बैजनाथ (काँगड़ा)/बानू खड्ड ब्यास की सहायक नदी।
- गुम्मा परियोजना-3 मेगावाट/मण्डी/गुम्मा खड्ड।
- होली परियोजना-3 मेगावाट/भरमौर (चम्बा)/रावी नदी।
- लारजी परियोजना-126 मेगावाट कुल्लू ब्यास नदी (हिमाचल सरकार द्वारा निर्मित सबसे बड़ी जल विद्युत परियोजना)।
निजी क्षेत्र की जलविद्युत परियोजना:-
- बस्पा परियोजना-300 मेगावाट/किन्नौर/वस्पा सतलुज की सहायक नदी।
- मलाणा परियोजना-86 मेगावाट/कुल्लू मलाणा खड्ड ब्यास की सहायक नदी।
केन्द्र राज्य के साझेदारी में बनी जल विद्युत परियोजनाएँ
- यमुना परियोजना-131.57 MW / सिरमौर उत्तराखण्ड के सहयोग से यमुना नदी पर बनाई गई है।
- चमेरा । परियोजना-540 मेगावाट/रावी/चम्बा NHPC द्वारा 1994 में निर्मित।
- . चमेरा II परियोजना-300 मेगावाट/रावी नदी/चम्बा/NHPC द्वारा 2004 में निर्मित।
- बैरास्यूल परियोजना-180 मेगावाट/वैरास्यूल खड्ड रावी नदी की सहायक नदी/चम्बा जिला/NHPC द्वारा 1981 में निर्मित।
- शानन परियोजना-110 मेगावाट/पंजाब राज्य विद्युत बोर्ड द्वारा निर्मित पंजाब के अधीन है। मण्डी जिले के जोगिन्द्रनगर में स्थित यह हिमाचल प्रदेश में बनी जलविद्युत परियोजना है जो 1932 में ब्यास की सहायक नदी रीना नदी पर बनी थी जिसे उहल खड्ड भी कहते हैं।
- पोंग परियोजना-396 मेगावाट/काँगड़ा/ब्याज नदी/BBMB (भाँखड़ा ब्यास मैनेजमेंट बोर्ड) द्वारा निर्मित है।
- देहर परियोजना-990 मेगावाट/काँगड़ा/देहर खड्ड/BBMB द्वारा निर्मित।
- भाँखड़ा परियोजना-1325 मेगावाट/बिलासपुर/सतलुज नदी/1963 में बनकर तैयार/226 मीटर ऊँचा बाँध/BBMB द्वारा निर्मित।
- नाथपा झाकड़ी परियोजना-1500 मेगावाट किन्नौर केन्द्र-राज्य की संयुक्त परियोजना जिसे SJVNL सतलुज जल विद्युत निगम लिमिटेड ने बनाया है। इसे विश्व बैंक से भी सहयोग मिला है।
निर्माणाधीन जलविद्युत परियोजनाएँ
- कंसाग परियोजना-243 मेगावाट/किन्नौर जिला/कसांग खड्ड सतलुज की सहायक नदी।
- उहल III परियोजना-100 मेगावाट/मण्डी जिला/उहल खड्ड ब्यास की सहायक नदी।
- स्वार कुड्डू परियोजना-111 मेगावाट/शिमला जिला/पब्बर नदी की सहायक स्वार कुड्डू पर निर्मित।
- सोंगटोंग करछम परियोजना-450 मेगावाट/किन्नौर/सतलुज नदी।
- सेंज परियोजना-100 मेगावाट/कुल्लू/NHPC द्वारा निर्मित/ब्यास की सहायक नदी सेंज पर निर्मित।
- पार्वती परियोजना-2051 मेगावाट (हिमाचल प्रदेश की सबसे बड़ी जलविद्युत परियोजना) कुल्लू जिले में/ब्यास की सहायक नदी पार्वती पर निर्मित NHPC द्वारा बनाई जा रही है जिसमें 5 राज्यों हिमाचल प्रदेश, राजस्थान, दिल्ली, गुजरात व हरियाणा का सहयोग है। इस परियोजना में हिमाचल प्रदेश का 15% हिस्सा है। सबसे अधिक लागत राजस्थान उठा रहा है।
- कोल बाँध परियोजना-800 मेगावाट/बिलासपुर जिला/सतलुज नदी/NTPC (नेशनल थरमल पॉवर कॉरपोरेशन) द्वारा निर्मित। रूस की सहायता से निर्मित परियोजना।
- कड़छम बांगतू परियोजना-1000 मेगावाट/सतलुज नदी/किन्नौर जिला/J.P. इंडस्ट्री द्वारा निर्मित निजी क्षेत्र की सबसे बड़ी परियोजना।
- रोंग टोंग परियोजना-लाहौल स्पीति/2 मेगावाट/रोंग टोंग नाला/स्पीति नदी की सहायक।
- रामपुर परियोजना-412 मेगावाट/शिमला जिला/सतलुज नदी/यह परियोजना सतलुज जल विद्युत निगम लिमिटेड (SJVNL) द्वारा निर्मित की जा रही है।
- धमुराड़ी सुंडा परियोजना-70 मेगावाट/शिमला जिला/पब्बर नदी/निजी क्षेत्र की परियोजना स्वीडन की सहायता से निर्मित।
- उहल II परियोजना-मण्डी/70 मेगावाट/ब्यास की सहायक उहल नदी पर निर्मित।
- आलयन दुहंगन परियोजना-192 मेगावाट/कुल्लू/ब्यास की सहायक नदी/AD पावर पर निर्मित।
- मलाणा II परियोजना-100 मेगावाट/कुल्लू/ब्यास नदी।
- हड़सर परियोजना-60 मेगावाट/रावी नदी/चम्बा जिला।
- भरमौर परियोजना-45 मेगावाट/रावी नदी/चम्बा जिला।
- टिडोंग परियोजना-100 मेगावाट/सतलुज/किन्नौर जिला।
- चिडगाव मझगाँव परियोजना-46 मेगावाट/शिमला जिला/आंध्रा नदी।
- रेणुका ( परशुराम सागर बाँध) परियोजना-सिरमौर/40 मेगावाट/गिरी नदी पर निर्मित।
- पटकरी परियोजना-16 मेगावाट/मण्डी/ब्यास की सहायक नदी पटकरी पर निर्मित।
- बुधिल परियोजना-70 मेगावाट/चम्बा जिला/रावी की सहायक नदी बुधिल पर निर्मित।
- खाब परियोजना-किन्नौर/सतलुज/1020 मेगावाट।
- जांगी थोपन परियोजना-किन्नौर/सतलुज नदी/960 मेगावाट।
- छांगो यांगटाग परियोजना-किन्नौर/सतलुज नदी/140 मेगावाट।
- रूकटी परियोजना-किन्नौर 1.5 मेगावाट/सतलुज नदी।
- हिब्रा चमेरा III परियोजना-चम्बा/रावी/260 मेगावाट NHPC द्वारा 2012 में निर्मित।
- सेली परियोजना-चम्बा/चिनाब/454 मेगावाट।
- राओली परियोजना-चम्बा/चिनाब/500 मेगावाट।
- मनछेतरी परियोजना-चम्बारावी नदी/100 मेगावाट।
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